India General Elections Result: 2024(एग्जिट पोल) : भारतीय लोकसभा चुनाव जनमत सर्वेक्षण की तारीख और समय की जानकारी।
2024 के लोकसभा चुनाव Exit Poll की तिथि और समय: देश में कई प्राईवेट एजेंसियां है जो मतदाता के बीच जाकर ये पता लगाने की कोशिश करती है कि जनता किस पार्टी को चुनने में interest दिखाई पड़ती है, ये सर्वे विभिन्न कंपनियों द्वारा औसत रूप में लोगों से प्रश्न पूछ कर किया जाता है। यह जनमत संग्रह मतदान केंद्र के बाहर लोगों से पूछ कर भी इकट्ठा किया जाता है। एग्जिट पोल एक इशारा होता है कि जनता ने चुनाव में किस प्रकार से वोट किया। पोलिंग बूथ से मतदाताओं के बाहर निकलने के बाद ही Exit Poll अपने आंकड़े बता देते है, जो कि चुनाव आयोग के डाटा और अन्य जानकारियां एकत्रित करने पर प्राप्त किए जाते है।
भारत में 1 जून 2024 को सातवें चरण की आखिरी वोटिंग का दिन है। वोटिंग समाप्ति के पश्चात ही एग्जिट पोल के नतीजे मीडिया में दिखाई देंगे। एग्जिट पोल एक संकेत होते है कि मतदान किस पार्टी के पक्ष में हुआ है, हालाकि ये जरूरी नहीं की एग्जिट पोल के नतीजे सही साबित हो या सटीक हो। कई बार एग्जिट पोल के आंकलन गलत भी साबित हुए है।
2024 एग्जिट पोल के नतीजे:
लोकसभा चुनाव 2024 के अंतिम चरण की वोटिंग 1 जून(शनिवार) को खत्म होगी, इसके बाद सभी की नज़र मीडिया पर होगी जो एग्जिट पोल का प्रसारण अपने अपने चैनल पर करेंगे। भारत में 18 वी लोकसभा चुनावों का रुझान हमें 1 जून की शाम 6 बजे के बाद पता लगेगा। परंतु असल में मतदान की गणना दो दिन बाद 4 जून मंगलवार को शुरू होगी।
लोकसभा की 543 सीटों पर 19 अप्रैल से शुरू हुए मतदान सात चरणों में संपन्न होकर 1 जून को खत्म हो रहे है। 40 दिनों तक चले इस चुनाव में मुख्य दो गठबंधन NDA V/s India Alliance के प्रत्याशियों के बीच कड़ा मुकाबला था।
एग्जिट पोल की इंपोटेंस
एग्जिट पोल से मतों के रुझान का अंदाजा लगाया जाता है। एग्जिट पोल का अनुमान मतदाताओ से वोटिंग सेंटर के बाहर आने के तुरंत बाद ही संपर्क व बातचीत के आधार पर लगाया जाता हैं। इसके अतिरिक्त मतदाताओं के डेटा से संबंधित अन्य गणनाओं पर भी विचार किया जाता है।
भारत में एग्जिट पोल को उतना ही महत्व देते हैं जितना कि असली परिणामों को। एग्जिट पोल वोटिंग के आखिरी दिन जारी किए जाते हैं, एग्जिट पोल की गणना करने वाली एजेंसियां भारत के चुनाव आयोग (Election commission of India) द्वारा निर्देशित सभी चरणों में मतदान पूरा होने तक प्रतीक्षा करती है। ऐसा इसलिए किया जाता है ताकि मतदान करने वाले मतदाताओं पर प्रभाव न पड़े।
भारत में एग्जिट पोल कई संगठनों द्वारा संचालित किए जाते हैं, अक्सर मीडिया संगठनों के साथ गठजोड़ करके सर्वेक्षण आमने-सामने या ऑनलाइन आयोजित किए जा सकते हैं।
लोकसभा चुनाव 2024 की प्रमुख बातें
इस बार के 18 वी लोकसभा चुनावों में सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (BJP ) के नेतृत्व वाली राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) सरकार और विपक्ष में कड़ी टक्कर देखने को मिली क्योंकि सभी विपक्षी पार्टियां एकजुट होकर भारतीय जनता पार्टी से मुकाबला कर रही है। ये सभी 41 पार्टियों का एक गठबंधन हुआ है जिसे I.N.D.I.A नाम दिया गया है। जिसमें प्रमुख पार्टियां है, कांग्रेस, तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी),आम आदमी पार्टी (आप), शिवसेना (यूबीटी), राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी- शरदचंद्र पवार, राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी), नेशनल कॉन्फ्रेंस (एनसी), द्रविड़ मुनेत्र कड़गम (डीएमके) और अन्य दल शामिल हैं।
अभी तक छोटी मोटी घटनाओं के अलावा सिर्फ पश्चिम बंगाल में हिंसा की कुछ छिट पुट घटनाएं देखने को मिली। भीषण गर्मी के दौरान हुए मतदानों में ड्यूटी पर तैनात जवानों की मौत भी हो गई और कई चुनावकर्मी बीमार पड़ गए।
चुनावों को इतना लंबा क्यों खींचा गया ? इसका कोई कारण चुनाव आयोग द्वारा स्पष्ट नहीं है, चूंकि पहले भी पूरे भारत में दो दो चरणों में सरलता पूर्वक शांतिपूर्ण चुनाव संपन्न कराए जा चुके है।
दिल्ली के मुख्यमंत्री और आप के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल, जिन्हें ED ने ठीक चुनावों से पहले दिल्ली आबकारी नीति मामले में गिरफ्तार कर लिया गया था।
अरविंद केजरीवाल को सर्वोच्च न्यायालय के निर्देशानुसार 2 जून को अदालत में समर्पण करना है।
सुप्रीम कोर्ट ने पार्टी के चुनाव प्रचार हेतु जमानत पर रिहा कर दिया था।
झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को भी गिरफ्तार किया गया और वे अभीभी जेल में है, उन्हें जमानत नहीं मिल पाई।